अंडजनन या ओजेनसिस वह प्रक्रिया है जिसमें अंडाणु / ओवम का निर्माण होता हैं।[1] अंडजनन की प्रक्रिया मादा जनन तंत्र के प्राथमिक अंग अंडाशय में चलती है और प्राथमिक ओसाइट से अंडाणु का निर्माण होता है। यह प्रक्रिया भ्रूणीय अवस्था में शुरू होती है और विभिन्न उप-प्रक्रियाओं के माध्यम से पूर्ण होती है।[2]

ओजेनिसिस अंडाणु कोशिकाओं के उत्पादन की प्रक्रिया है जो अंडाशय में होती है
ओजेनिसिस

ओजेनिसिस अंडाणु कोशिकाओं के उत्पादन की प्रक्रिया है जो अंडाशय में होती है
TE E1.0.2.2.0.0.2
शरीररचना परिभाषिकी

ओजेनसिस के विभिन्न चरण

संपादित करें
कोशिका प्रकार प्लॉइडी/क्रोमोसोम्स क्रोमाटिड्स प्रक्रिया पूरा होने का समय
ओओगोनियम द्विगुणित/46(2N) 2C ओओसाइटोजेनेसिस (माइटोसिस) तीसरी तिमाही
प्राथमिक ओओसाइट द्विगुणित/46(2N) 4C ओटिडोजेनेसिस (मेयोसिस I) (फॉलिकुलोजेनेसिस) डिक्टिएट प्रोफेज I में 50 साल तक
द्वितीयक ओओसाइट एकगुणित/23(1N) 2C ओटिडोजेनेसिस (मेयोसिस II) निषेचन तक मेटाफेज II में रोका हुआ
ओटिड एकगुणित/23(1N) 1C ओटिडोजेनेसिस (मेयोसिस II) निषेचन के कुछ मिनट बाद
ओवम एकगुणित/23(1N) 1C

ओगोनियम → (ओसाइटोजेनेसिस) → प्राथमिक ओसाइट → (माइटोसिस I) → प्रथम ध्रुवीय शरीर + द्वितीयक ओसाइट → (माइटोसिस II) → द्वितीय ध्रुवीय शरीर + अंडाणु[3][4]

ओगोनिया का निर्माण

संपादित करें

ओगोनिया का निर्माण अंडजनन की प्रकिया में नहीं होता है बल्कि इसका निर्माण युग्मकजनन प्रकिया के द्वारा होता है। मादा में जन्म के समय ही सभी ओगोनिया बनकर तैयार हो जाती है। जन्म के पश्चात कोई भी नहीं ओगोनिया का निर्माण नहीं होता है। यह ओगोनिया मादा में यौवनावस्था आने पर कार्यशील हो जाती है।

अर्धसूत्रीविभाजन - 1 में रूकावट

संपादित करें

अर्धसूत्री विभाजन - I भ्रूणीय विकास के दौरान शुरू होता है, लेकिन प्रोफेज I के डिप्लोटीन चरण में रोक जाता है। अंडाणु कई वर्षों तक अर्द्ध सूत्री विभाजन की प्रोफेज अवस्था के डिप्लोटीन चरण में रुकावट में रहते हैं।[5] शुरूआती अवस्था में, यह रोक कोशिका चक्र प्रोटीन की कमी के कारण होती है। जैसे-जैसे अंडाणु बढ़ता है, ये प्रोटीन संश्लेषित करते हैं और अर्द्ध सूत्री विभाजन रोक चक्रीय AMP पर निर्भर हो जाती है।[6][7]

अर्धसूत्री विभाजन - 2 में रुकावट और अंडोत्सर्ग

संपादित करें

ल्यूटिनाइजिंग हार्मोन, जो अग्र पिट्यूटरी ग्रंथि (पियूष ग्रंथि) द्वारा स्रावित होता है, जो द्वितीयक अंडाणु से अंडोत्सर्ग करवाता है। अर्धसूत्री I के तुरंत बाद, द्वितीयक अंडाणु अर्धसूत्री विभाजन II को प्रारंभ करता है। अंडोत्सर्ग होने के बाद अंडजनन की प्रकिया अर्द्ध सूत्री विभाजन के मेटाफेज -2 अवस्था में रुक जाती है। यदि अंडाणु निषेचित नहीं होता है, तो यह विघटित हो जाता है और मासिक धर्म के माध्यम से बाहर निकलता है। यदि मादा और नर के बीच निषेचन हो जाता है तो मासिक धर्म गर्भकाल तक बंद हो जाता है।

 
यूकेरियोटिक कोशिकाओं में ओजेनसिस। (A) ओओगोनियम जहां माइटोटिक विभाजन होता है (B) विभेदन और मेयोसिस I की शुरुआत (C) प्राथमिक ओओसाइट (D) मेयोसिस I पूरा होता है और मेयोसिस II की शुरुआत होती है (E) द्वितीयक ओओसाइट (F) पहला पोलर बॉडी (G) अंडोत्सर्जन होना चाहिए और शुक्राणु प्रवेश की उपस्थिति (निषेचन) मेयोसिस II को पूरा करने के लिए प्रेरित करता है (H) ओवम (I) दूसरा पोलर बॉडी
 

मानव ओजेनसिस

संपादित करें
 
एक महिला के जीवनभर में ओजेनसिस

मानव ओओजेनसिस में प्राथमिक ओसाइट का विकास ओगोनिया से प्रारंभ होता है। इस प्रक्रिया को ओसाइटोजेनेसिस कहा जाता है। एक ओगोनियम से केवल एक परिपक्व ओसाइट बनती है। ओसाइटोजेनेसिस जन्म से पहले या बाद में पूर्ण हो जाती है।[8]

प्राथमिक ओसाइट्स की संख्या

संपादित करें

सामान्यतः, यह माना जाता है कि ओसाइटोजेनेसिस के पूर्ण होने पर कोई अतिरिक्त प्राथमिक ओसाइट नहीं बनती। गर्भावस्था के 20 सप्ताह में लगभग सात मिलियन प्राथमिक ओसाइट्स का निर्माण होता है। जन्म के समय यह संख्या घटकर 1-2 मिलियन प्रति अंडाशय हो जाती है। किशोरावस्था के समय, यह संख्या और घटकर 60,000-80,000 प्रति अंडाशय हो जाती है, और एक महिला के जीवनकाल में केवल लगभग 500 परिपक्व ओसाइट्स उत्पन्न होती हैं, बाकी अट्रेशिया (अपघटन) में चली जाती हैं।[9][10][11]

ओटिडोजेनेसिस

संपादित करें

ओटिडोजेनेसिस का अगला चरण प्राथमिक ओसाइट का विकास ओटिड में होता है। यह माइटोसिस की प्रक्रिया के माध्यम से होता है। यद्यपि यह प्रक्रिया जन्मपूर्व अवस्था में शुरू होती है, यह प्रोफेज I में रूक जाती है। यौनअवस्था के बाद, ये कोशिकाएं आगे विकास करती हैं।[12]

इन्हें भी देखें

संपादित करें

संदर्भ सूची

संपादित करें
  1. Merriam-Wr Online Dictionary Definition: Oogenesis
  2. Gilbert, Scott F. (2000-01-01). "Oogenesis" (अंग्रेज़ी में). Sinauer Associates. Cite journal requires |journal= (मदद)
  3. Szollosi D, Calarco P, Donahue RP (1972). "Absence of centrioles in the first and second meiotic spindles of mouse oocytes". J Cell Sci. 11 (2): 521–541. PMID 5076360. डीओआइ:10.1242/jcs.11.2.521.
  4. Manandhar G, Schatten H, Sutovsky P (January 2005). "Centrosome reduction during gametogenesis and its significance". Biol. Reprod. 72 (1): 2–13. PMID 15385423. S2CID 37305534. डीओआइ:10.1095/biolreprod.104.031245.
  5. Guli CL, Smyth DR (1988). "UV-induced DNA repair is not detectable in pre-dictyate oocytes of the mouse". Mutat Res. 208 (2): 115–119. PMID 3380109. डीओआइ:10.1016/s0165-7992(98)90010-0.
  6. Jaffe, Laurinda A.; Egbert, Jeremy R. (2017-02-10). "Regulation of Mammalian Oocyte Meiosis by Intercellular Communication Within the Ovarian Follicle". Annual Review of Physiology. 79 (1): 237–260. PMID 27860834. डीओआइ:10.1146/annurev-physiol-022516-034102. पी॰एम॰सी॰ 5305431.
  7. Mehlmann, Lisa M.; Saeki, Yoshinaga; Tanaka, Shigeru; Brennan, Thomas J.; Evsikov, Alexei V.; Pendola, Frank L.; Knowles, Barbara B.; Eppig, John J.; Jaffe, Laurinda A. (2004-12-10). "The Gs-Linked Receptor GPR3 Maintains Meiotic Arrest in Mammalian Oocytes". Science. 306 (5703): 1947–1950. PMID 15591206. S2CID 37342089. डीओआइ:10.1126/science.1103974. बिबकोड:2004Sci...306.1947M.
  8. NCBI - The saga of the germ line
  9. Lobo RA (September 2003). "Early ovarian ageing: a hypothesis. What is early ovarian ageing?". Hum. Reprod. 18 (9): 1762–4. CiteSeerX 10.1.1.611.1482. PMID 12923124. डीओआइ:10.1093/humrep/deg377.
  10. Johnson J, Bagley J, Skaznik-Wikiel M, Lee HJ, Adams GB, Niikura Y, Tschudy KS, Tilly JC, Cortes ML, Forkert R, Spitzer T, Iacomini J, Scadden DT, Tilly JL (July 2005). "Oocyte generation in adult mammalian ovaries by putative germ cells in bone marrow and peripheral blood". Cell. 122 (2): 303–15. PMID 16051153. डीओआइ:10.1016/j.cell.2005.06.031.
  11. Johnson J, Canning J, Kaneko T, Pru J, Tilly J (2004). "Germline stem cells and follicular renewal in the postnatal mammalian ovary". Nature. 428 (6979): 145–50. PMID 15014492. S2CID 1124530. डीओआइ:10.1038/nature02316. बिबकोड:2004Natur.428..145J.
  12. "Biochem". मूल से 2010-06-15 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 2007-07-18.