अनिर्वाण
अनिर्वाण या श्री अनिर्वाण (बंगाली : শ্রী অনির্বান श्री अनिर्वाण) (8 जुलाई 1896 – 31 मई 1978) एक भारतीय/बंगाली/हिन्दू सन्यासी, लेखक, वैदिक विद्वान तथा दार्शनिक थे। उनके बचपन का नाम नरेंद्रचन्द्र धर था। उन्हें एक विद्वान के रूप में जाना जाता है। तथा उनके प्रमुख कार्यों में श्री अरविन्द घोष की द लाइफ डिवाइन तथा वैदिक मीमांशा के तीन खण्डों का बंगाली अनुवाद है।[1][1] [1][1]
श्री अनिर्वाण | |
---|---|
जन्म | 8 जुलाई 1896 म्यमेनसिंह, ब्रिटिश भारत |
मौत | 31 मई 1978 कोलकाता, भारत | (उम्र 81 वर्ष)
पेशा | स्वामी, दार्शनिक, विद्वान,लेखक |
राष्ट्रीयता | बंगाली |
काल | बंगाल का नवजागरण |
सन्दर्भ
संपादित करें- ↑ अ आ इ ई Buddhiyoga of the Gita and other Essays. by Anirvan. Samata Books, 1984 (paperback 1991). ISBN 978-0-8364-1120-1. at Bagchee.com, accessed 1 June 2008 and Buddhiyoga jacket copy, accessed June 1, 2008 at the वेबैक मशीन (archived 9 फ़रवरी 2011)