निकाह हलाला
हलाला: इस्लाम में यदि पुरुष औरत को तीन तलाक़ देने के बाद वह औरत किसी दूसरे पुरुष से विवाह करने की प्रक्रिया को निकाह हलाला कहते हैं। यह विवाह (निकाह) मुख्य रूप से सुन्नी मुसलमानों के कुछ संप्रदायों द्वारा किया जाता है क्योंकि शरिया के मुताबिक अगर किसी पुरुष ने औरत को तीन तलाक दे दिया है, इस लिए अब वह पुरुष उस औरत से दोबारा तब तक शादी नहीं कर सकता जब तक वह औरत किसी दूसरे पुरुष से शादी कर तलाक न ले ले, दूसरे पति को तलाक देने पर मजबूर नहीं किया जा सकता, अगर वह तलाक देना न चाहे तो यह दोनों पति-पत्नी के रिश्ते के साथ जीवन बिताएंगे। अतः निकाह हलाला के लिए, तलाकशुदा महिला किसी दूसरे पुरुष से शादी कर लेती है, अगर औरत व दूसरे पुरुष ने तलाक लेने/देने की नीयत से शादी की है तो वह शादी मान्य नहीं होगी औरत और पुरुष दोनों इस्लाम से खारिज हो जायेगे, अगर किसी कारणवश पुरुष के साथ विवाह की संसिद्धि करती है और तलाक लेती है ताकि उसे अपने पहले पति से पुनर्विवाह करना उचित हो सके।[1] निकाह हलाला एक प्रक्रिया है जिसके हिसाब से अगर आपने अपनी पत्नी को तीन बार तीन तलाक दे दिया तो आप उससे तब तक दोबारा विवाह नहीं कर सकते जब तक वो एक बार फिर किसी और से शादी न कर ले।[2] साथ ही वह अपने दूसरे पति के साथ शारीरिक संबंध भी बनाए।[3]
कुरआन में
संपादित करेंजिससे तलाक हो चुकी हो उससे पुन: विवाह संबंधित आयत (क़ुरआन) जिसे हलाला से संबंधित आयत भी कहा जाता है:
فَإِن طَلَّقَهَا فَلَا تَحِلُّ لَهُ مِن بَعْدُ حَتَّىٰ تَنكِحَ زَوْجًا غَيْرَهُ ۗ فَإِن طَلَّقَهَا فَلَا جُنَاحَ عَلَيْهِمَا أَن يَتَرَاجَعَا إِن ظَنَّا أَن يُقِيمَا حُدُودَ اللَّهِ ۗ وَتِلْكَ حُدُودُ اللَّهِ يُبَيِّنُهَا لِقَوْمٍ يَعْلَمُونَ
अर्थ: " (दो तलाक़ो के पश्चात) फिर यदि वह उसे तलाक़ दे दे, तो इसके पश्चात वह उसके लिए वैध न होगी, जबतक कि वह उसके अतिरिक्त किसी दूसरे पति से निकाह न कर ले। अतः यदि वह उसे तलाक़ दे दे तो फिर उन दोनों के लिए एक-दूसरे को पलट आने में कोई गुनाह न होगा, यदि वे समझते हो कि अल्लाह की सीमाओं पर क़ायम रह सकते है। और ये अल्लाह कि निर्धारित की हुई सीमाएँ है, जिन्हें वह उन लोगों के लिए बयान कर रहा है जो जानना चाहते हो ।
हदीस में
संपादित करेंनिकाह हलाला सहीह हदीस में यह कुछ इस प्रकार वर्णित हैं:
अली (रज़ियल्लाहु अंहु) का वर्णन है कि अल्लाह के रसूल पैगंबर मुहम्मद (सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम) ने फ़रमायाः "अल्लाह तआला ने ह़लाला करने वाले और ह़लाला करवाने वाले पर लानत भेजी है।" सह़ीह़ - इसे इब्ने माजा ने रिवायत किया है।[5]
सुनन अबू दाऊद (हदीस संख्या : 2076) ने रिवायत किया है कि नबी सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम ने फरमाया :''हलाला करने वाले (मुहल्लिल) और हलाला करवाने वाले (मुहल्लल् लहू) व्यक्ति पर अल्लाह की लानत (धिक्कार) हो।'' [6]
सुनन इब्न माजा (हदीस संख्या : 1936) ने उक़बा बिन आमिर रज़ियल्लाहु अन्हु से रिवायत किया है कि पैगंबर मुहम्मद सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम ने फरमाया : ''क्या मैं तुम्हें किराए पर लिए गए सांड के बारे में न बतलाऊँ? (कि वह कौन होता है) लोगों ने कहा : क्यों नहीं, ऐ अल्लाह के रसूल! आप (सल्लल्लाहु अलैहि व सल्लम) ने फरमाया : वह हलाला करने वाला व्यक्ति है, अल्लाह तआला हलाला करने वाले और हलाला करवाने वाले पर लानत (अभिशाप) करे।'' शैख अल्बानी रहिमहुल्लाह ने ''सहीह सुनन इब्ने माजा'' में इस हदीस को हसन कहा है।[7]
حَدَّثَنَا عَبْدُ اللَّهِ بْنُ مُحَمَّدٍ، حَدَّثَنَا سُفْيَانُ، عَنِ الزُّهْرِيِّ، عَنْ عُرْوَةَ، عَنْ عَائِشَةَ ـ رضى الله عنها ـ جَاءَتِ امْرَأَةُ رِفَاعَةَ الْقُرَظِيِّ النَّبِيَّ صلى الله عليه وسلم فَقَالَتْ كُنْتُ عِنْدَ رِفَاعَةَ فَطَلَّقَنِي فَأَبَتَّ طَلاَقِي، فَتَزَوَّجْتُ عَبْدَ الرَّحْمَنِ بْنَ الزَّبِيرِ، إِنَّمَا مَعَهُ مِثْلُ هُدْبَةِ الثَّوْبِ. فَقَالَ " أَتُرِيدِينَ أَنْ تَرْجِعِي إِلَى رِفَاعَةَ لاَ حَتَّى تَذُوقِي عُسَيْلَتَهُ وَيَذُوقَ عُسَيْلَتَكِ " . وَأَبُو بَكْرٍ جَالِسٌ عِنْدَهُ وَخَالِدُ بْنُ سَعِيدِ بْنِ الْعَاصِ بِالْبَابِ يَنْتَظِرُ أَنْ يُؤْذَنَ لَهُ، فَقَالَ يَا أَبَا بَكْرٍ، أَلاَ تَسْمَعُ إِلَى هَذِهِ مَا تَجْهَرُ بِهِ عِنْدَ النَّبِيِّ صلى الله عليه وسلم.
(सहीह बुखारी : हदीस 2639)[8]
अर्थ : आयशा ने फ़रमाया: रिफा अल-कुराज़ी की पत्नी रसूल (ﷺ) के पास आई और कहा, "मैं रिफा अल-कुराज़ी की पत्नी थी, पर मेरे शौहर ने मुझे तलाक दे दिया और यह एक अंतिम और अपरिवर्तनी तलाक था। फिर मैंने अब्दुर-रहमान बिन अज़-जुबैर से शादी की, पर वह नपुंसक है।" रसूल (ﷺ) ने उससे पूछा, "क्या तुम रिफा अल-कुराज़ी के साथ फिर से शादी करना चाहती हो? लेकिन तुम अपने वर्तमान पति के साथ पूरा यौन संबंध बिना बनाए दोबारा पूर्व पति से निकाह नही कर सकती ।" अबू बक्र अल्लाह के रसूल (ﷺ) के साथ बैठे थे और खालिद बिन सैद बिन अल-आस दरवाजे पर प्रवेश करने के लिए प्रतीक्षा कर रहे थे। उसने कहा, "हे अबू बक्र! क्या तुम्हें यह सुनने का अवसर मिल रहा है कि यह (स्त्री) खुलकर रसूल (ﷺ) के सामने क्या बोल रही थी।"
حَدَّثَنِي يَحْيَى، عَنْ مَالِكٍ، عَنِ الْمِسْوَرِ بْنِ رِفَاعَةَ الْقُرَظِيِّ، عَنِ الزُّبَيْرِ بْنِ عَبْدِ الرَّحْمَنِ بْنِ الزَّبِيرِ، أَنَّ رِفَاعَةَ بْنَ سِمْوَالٍ، طَلَّقَ امْرَأَتَهُ تَمِيمَةَ بِنْتَ وَهْبٍ فِي عَهْدِ رَسُولِ اللَّهِ صلى الله عليه وسلم ثَلاَثًا فَنَكَحَتْ عَبْدَ الرَّحْمَنِ بْنَ الزَّبِيرِ فَاعْتَرَضَ عَنْهَا فَلَمْ يَسْتَطِعْ أَنْ يَمَسَّهَا فَفَارَقَهَا فَأَرَادَ رِفَاعَةُ أَنْ يَنْكِحَهَا - وَهُوَ زَوْجُهَا الأَوَّلُ الَّذِي كَانَ طَلَّقَهَا - فَذَكَرَ ذَلِكَ لِرَسُولِ اللَّهِ صلى الله عليه وسلم فَنَهَاهُ عَنْ تَزْوِيجِهَا وَقَالَ " لاَ تَحِلُّ لَكَ حَتَّى تَذُوقَ الْعُسَيْلَةَ "
(मुवत्ता मलिक :पुस्तक 28 : हदीस 17)[9]अर्थ : "यह्या मलिक से मुझसे यह सुना, अल-मिस्वार इब्न रिफा अल-कुराधी से, अज़-ज़ुबैर इब्न अब्द अर-रहमान इब्न अज़-ज़ुबैर से कि रिफा इब्न सिमवाल ने अपनी पत्नी, तामिमा बिन्त वाहब, को आपके समय में, अल्लाह के रसूल के समय में, तीन बार तलाक दे दिया। फिर उन्होंने अब्द अर-रहमान इब्न अज़-ज़ुबैर से शादी की, लेकिन उसने उससे दूर हो गया और शादी को समाप्त नहीं किया और इसलिए उसने उससे अलग हो गया। रिफा ने फिर से उससे शादी करने का इरादा किया और यह अल्लाह के रसूल को बताया गया और उन्होंने उसे उससे शादी करने से मना कर दिया। उन्होंने कहा, 'तुम उससे दोबारा शादी करने के लिए हलाल नहीं होगे जब तक कि उसने नए शौहर से सम्भोग का स्वाद नहीं चखा।'"
हदीसों से यह भी स्पष्ट होता है कि इस्लाम में हलाला की प्रथा को नकारात्मक दृष्टि से देखा गया है और इसे प्रोत्साहित नहीं किया गया है। इस्लाम में हलाला का प्रचलित स्वरुप हराम है।[10] [11]
विविध
संपादित करेंअप्रैल २०१७ में बीबीसी के एक समाचार लेख ने खुलासा किया कि यूनाइटेड किंगडम (यूनाइटेड किंगडम) मे निकाह हलाला के नाम पर कई ऑनलाइन सेवाएं उपलब्ध हैं जो महिलाओं का सामाजिक और यौन शोषण करते हैं। ये सेवाएं किसी महिला को पैसे के बदले में एक आदमी प्रदान करते हैं जो उससे निकाह करे, शारीरिक संबंध बनए और तलाक दे दे।[12] सुप्रीम कोर्ट द्वारा तीन तलाक को अवैध माना गया है अगर कोई भी मुस्लिम कॉल या मूंह से तलाक तलाक तलाक बोलकर अपनी पत्नी को नही छोड़ सकता इसमें विभिन्न प्रकार की सजा का प्रावधान है ।[13][14][15]
निकाह हलाला के बहुत से विकृत और विचित्र मामले सामने आ रहे हैं।[16][17]
इन्हें भी देखें
संपादित करेंसन्दर्भ
संपादित करें- ↑ अविनाश द्विवेदी (२२ अगस्त २०१७). "तीन तलाक के साथ जानिए क्या है 'हलाला', 'हुल्ला' और 'खुला'?". मूल से 24 अगस्त 2017 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि २३ अगस्त २०१७.
- ↑ "https://www.patrika.com/lucknow-news/know-about-talaq-khula-aur-halala-nikah-pratha-meaning-in-hindi-1575400/". मूल से 17 जुलाई 2018 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 17 जुलाई 2018.
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में बाहरी कड़ी (मदद) - ↑ "मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड ने किया हलाला का समर्थन, बताया 'कुरान सम्मत'". मूल से 17 जुलाई 2018 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 17 जुलाई 2018.
- ↑ "अल बकराह आयत २३० | Al-Baqarah: 230 | 2:230 - Quran O". qurano.com. अभिगमन तिथि 2023-12-14.
- ↑ "हदीस: अल्लाह तआला ने ह़लाला करने वाले और ह़लाला करवाने वाले पर लानत भेजी है।". अनूदित हदीस-ए-नबवी विश्वकोश. अभिगमन तिथि 2024-07-02.
- ↑ "Sunan Abi Dawud 2076 - Marriage (Kitab Al-Nikah) - كتاب النكاح - Sunnah.com - Sayings and Teachings of Prophet Muhammad (صلى الله عليه و سلم)". sunnah.com. अभिगमन तिथि 2024-07-05.
- ↑ "Sunan Ibn Majah 1936 - The Chapters on Marriage - كتاب النكاح - Sunnah.com - Sayings and Teachings of Prophet Muhammad (صلى الله عليه و سلم)". sunnah.com. अभिगमन तिथि 2024-07-05.
- ↑ "Sahih Bukhari , Hadith 2639".
- ↑ Malik, Muwatta. "Book 28 , Hadith 17".
- ↑ "Uniform Civil Code: इस्लाम में पहले ही है हलाला हराम... उलेमाओं की नजर से ये हैं प्रावधान". Amar Ujala. अभिगमन तिथि 2024-07-05.
- ↑ "प्रचलित तलाक और हलाला हराम है ,हाफिज़ सलाहुद्दीन ,उर्दू पुस्तक, तलाक, खुला और हलाला, प्रष्ठ ३४".
- ↑ अतार अहमद (५ अप्रैल २०१७). "The women who sleep with a stranger to save their marriage". बीबीसी. मूल से 31 अगस्त 2017 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि २४ अगस्त २०१७.
- ↑ "Supreme Court To Begin Nikah Halala and Polygamy Hearing From July 20". मूल से 17 जुलाई 2018 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 17 जुलाई 2018.
- ↑ "Before SC hearing, Modi govt builds case against Nikah Halala, polygamy". मूल से 18 जुलाई 2018 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 17 जुलाई 2018.
- ↑ "AIMPLB against outlawing of 'nikah halala', but wants it to be discouraged". मूल से 26 जुलाई 2018 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 17 जुलाई 2018.
- ↑ "हलाला: पति के साथ रहने के लिए ससुर के बाद अब देवर से शादी करने का दबाव". मूल से 21 अक्तूबर 2018 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 21 अक्तूबर 2018.
- ↑ "ससुर से हलाला के बाद माँ बनी महिला". मूल से 21 अक्तूबर 2018 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 21 अक्तूबर 2018.
बाहरी कड़ियाँ
संपादित करेंतीन तलाक़ और हलाला: मुफ़्ती रज़ा उल हक़ अशरफी, उर्दू पुस्तक आर्काइव