रघुवरन
रघुवरन (मलयालम: രഘുവരന്; तमिल: ரகுவரன்; कन्नड़: ರಘುವರನ್; तेलुगू రఘువరన్) (1958 – 19 मार्च 2008)[1] एक भारतीय अभिनेता थे जिन्होंने मुख्य रूप से दक्षिण भारत में बनी फिल्मों में काम किया। वे तमिल फिल्मों में खलनायक और चरित्र-भूमिकाएं करने के कारण प्रसिद्ध हो गये। उन्होंने 150 से अधिक मलयालम, तमिल, तेलुगू, कन्नड़ और हिंदी फिल्मों में काम किया है। हिन्दुस्तान टाइम्स के अनुसार, "इस अभिनेता ने अपनी विशेष शैली और आवाज़ के साथ अपने लिए एक खास स्थान बना लिया था।"[1]
रघुवरन | |
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जन्म |
रघुवरन वेलायुथम 11 दिसम्बर 1958 कोलेंगोडे, केरल, भारत |
मौत |
19 मार्च 2008 चेन्नई, तमिलनाडु, भारत | (उम्र 49 वर्ष)
राष्ट्रीयता | भारतीय |
पेशा | फिल्म अभिनेता |
कार्यकाल | 1982-2008 |
जीवनसाथी | रोहिणी (वि॰ 1996; वि॰वि॰ 2004) |
बच्चे | ऋषिवरन (b.1998) |
माता-पिता |
वेलायुथम नायर कस्तूरी |
एक तमिल धारावाहिक, ओरु मानिदानिन कदाई में वे नायक की भूमिका के लिए प्रसिद्ध हो गए थे, जिसमें एक भला आदमी शराबी बन जाता है। मलयालम फिल्म दैवातिन्टे विक्रितिकल में उनकी भूमिका के लिए उनकी बहुत प्रशंसा की गयी। इस फिल्म का निर्देशन लेनिन राजेंद्रन ने किया था और यह एम मुकुन्दन के इसी नाम के उपन्यास पर आधारित थी।
निजी जीवन
संपादित करेंउनका जन्म 1958[1] में केरल के पालक्काड़ ज़िलापलक्कड़ जिले में कोलेंगोड़े नामक स्थान में हुआ।[उद्धरण चाहिए] वे श्री एन. राधा कृष्णा मेनन और सत्यवती अम्मा के पोते और श्री वेलायुद्धन और श्रीमती कस्तूरी के पुत्र थे।[उद्धरण चाहिए]
वे कोयंबटूर में (सरकारी आर्ट्स कॉलेज) से अपनी बैचलर ऑफ आर्ट्स की शिक्षा प्राप्त कर रहे थे, जिसे बीच में ही छोड़ कर उन्होंने अभिनय के कैरियर की शुरुआत की. शुरू में उन्होंने मलयालम फिल्म उद्योग में काम करने की कोशिश की, परन्तु तभी उन्होंने यह जाना कि इसमें उन्हें ज्यादा फायदा नहीं होगा और इस उद्योग में अपनी जगह बनाने के लिए पैसे की जरुरत है। उन्होंने कन्नड़ फिल्म स्वप्ना तिंगलगल में एक छोटी सी भूमिका के साथ शुरुआत की, जिसमें एक कन्नड़ अनुभवी कलाकार अम्ब्रारीश मुख्य भूमिका निभा रहे थे।
उन्होंने तेलुगू और कन्नड़ फिल्मों में छोटी छोटी भूमिकाओं के साथ काम करना शुरू किया, इसमें उदय में दो मिनट का एक दृश्य भी शामिल है, जिसमें उन्होंने एक बलात्कारी की भूमिका निभाई थी। इस फिल्म में कन्नड़ अभिनेता विष्णुवर्धन ने मुख्य भूमिका निभाई थी।
1979 से 1983 तक उन्होंने चेन्नई में ड्रामा मंडली, चेन्नई किंग्स में काम किया, इसमें भी लोकप्रिय कन्नड़/तमिल अभिनेता नस्सर शामिल थे। उन्होंने एज़ावाथू मनिथन में एक भूमिका निभाई, यह उनकी अब तक की सबसे बड़ी भूमिका थी। उसके बाद वे सफलता पर सफलता प्राप्त करते चले गए।
उन्होंने मलयालम अभिनेत्री रोहिणी (मगलिर मट्टुम से प्रसिद्ध) से विवाह किया। उन्हें एक पुत्र है, जिसका नाम साईं ऋषिवरन है। बाद में यह दंपती अलग हो गया और उनके बीच तलाक हो गया।[1]
रघुवरन की कई बुरी आदतों ने उनके कैरियर को प्रभावित किया और उन्होंने बार बार अस्पतालों में रहना पडॉ॰[2]
कैरियर
संपादित करेंमंच पर शुरुआत के बाद, 1982 में रघुवरन ने तमिल फिल्म एलावाथू मानिथम (सेवन्थ मेन) के साथ फिल्म जगत में प्रवेश किया।[2] तमिल, मलयालम और तेलुगू फिल्मों में उनके उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए उन्हें कई राज्य स्तरीय और फिल्मफेयर पुरस्कारों से सम्मानित किया गया। उन्होंने तमिल में कई फिल्मों में एक सहायक अभिनेता के रूप में काम करते हुए अपने कैरियर की शुरुआत की थी। इसमें मणिरत्नम् की फिल्म अंजलि शामिल है, जिसमें उन्होंने एक स्वलीन बालक के पिता की भूमिका निभाई थी। एक सहायक अभिनेता के रूप में उनकी इस भूमिका को उनके सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शनों में से एक माना जाता है। हालांकि वह बाद में उन्होंने एक मंजे हुए खलनायक की यादगार भूमिकाएं निभायीं, जैसे बाशा में मार्क एंथोनी की भूमिका, मुधालवन में तमिलनाडु के मुख्यमंत्री की भूमिका, शिवा और मुथु रजनीकांत के भतीजे इलेमरण की भूमिका. इसके बाद भी कभी कभी उन्होंने अलाई (सिम्बस का पिता), यारादी नी मोहिनी (धनुष का पिता), तिरुमलाई (विजय का मित्र और गुरु) और बाला (श्याम का गुरु) जैसी फिल्मों में पिता की या गुरु की सहायक भूमिकाएं निभाई.
उन्होंने कई हिंदी फिल्मों में भी अभिनय किया, जैसे कि लाल बादशाह .
रघुवरन की आवाज़ अद्वितीय है और कई बार इसकी नक़ल भी की गयी है। उन्होंने कई पुरस्कार भी जीते हैं।
रजनीकांत, जिन्होंने रघुवरन के साथ कई सफल फिल्मों में अभिनय किया है, उन्हें अपने लिए एक भाग्यशाली अभिनेता मानते है। रजनीकांत ने दावा किया कि फिल्म बाबा सफल नहीं हुई होती अगर रघुवरन ने इसमें काम नहीं किया होता.
बाद में फिल्म शिवाजी के लिए रजनीकांत ने निर्देशक एस. शंकर से कहा कि रघुवरन को भी इसमें कोई भूमिका दी जानी चाहिए; यह फिल्म बहुत अधिक सफल हुई.
मृत्यु
संपादित करें19 मार्च 2008 को सूर्य ग्रहण के दौरान सुबह 6 बजकर 15 मिनट पर दिल का दौरा पड़ने से रघुवरन की मृत्यु हो गई। ऐसा कहा जाता है कि लम्बे समय से बहुत अधिक शराब पीने के कारण उन्हें जिगर की बीमारी हो गई थी।[1] नींद में ही उनकी मृत्यु हो गई।
उनके निधन के समय वे कई फिल्मों में काम कर रहे थे, इनमें उंचे बजट की तमिल फिल्म कांथास्वामी शामिल थी। इसमें रघुवरनने दिए हुए अभिनय का उपयोग नहीं किया गया, उनकी जगह आशीष विद्यार्थी ने काम किया, जिसके कारण फिल्म की रिलीज़ में देरी हुई. उनकी मृत्यु से दक्षिण भारतीय फिल्म उद्योग को बहुत बड़ा झटका लगा.
फिल्मों की सूची
संपादित करेंवर्ष | फिल्म | भूमिका | नोट |
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2009 | कोडिस्वरन | मरणोपरांत फिल्म देरी से बनी | |
2009 | नलवरवु | मरणोपरांत फिल्म उनके दृश्यों को हटा दिया गया; दृश्य हटा दिए गए। | |
2009 | कंदास्वामी | मरणोपरांत फिल्म उनके दृश्यों को हटा दिया गया; दृश्य हटा दिए गए | |
2009 | मंजीरा | ||
2008 | अडडा ऐना अलकू | मरणोपरांत फिल्म | |
2008 | एल्लाम अवन सेयल | मरणोपरांत फिल्म | |
2008 | यारडी नी मोहिनी | वासु के पिता | मरणोपरांत फिल्म |
2008 | सिला नेरंगलिल | कृष्णन | |
2008 | तोडक्कम | ||
2008 | पेल्लिकनी प्रसाद | गोपाल राव | |
2008 | अशोका | ||
2008 | बीमा | पेरियावर | |
2007 | मरुदामलई | सूर्या नारायणन | |
2007 | शिवाजी: द बॉस | डॉ॰ चेज़ीयन | अतिथि उपस्थिति |
2007 | दीपावली | डॉक्टर | अतिथि उपस्थिति |
2007 | इवड़ते नकेंटी | ||
2006 | सिवापदिहारम | इलांगो | |
2005 | सचिन | गोवथम (सचिन के पिता) | अतिथि उपस्थिति |
2004 | दुर्गी | ||
2004 | मास | सत्या | |
2004 | जाना | जाना के पिता | |
2003 | तिरुमलई | कलाकार | |
2003 | आन्जनेया | वेंकटेशवरन | |
2002 | बाला | ||
2002 | अलाउदीन | गंगाधर | |
2002 | रन | माधवन का बहनोई | |
2002 | रोजा कूट्टम | श्रीकांत के पिता | |
2002 | दोस्त | ||
2002 | दया | मेजर रुद्राया | |
2002 | बॉबी | ||
2002 | रेड | विकटन संपादक | |
2001 | मजनू | गजपति | |
2001 | ग्रहण | वकील रघु सिन्हा | |
2000 | आज़ाद | ||
2000 | मुगवरी | शिवा | |
2000 | कंडुकुंडेन कंडुकुंडेन | सौम्या का मालिक | |
2000 | पार्तेन रसितेन | पन्नीर | |
1999 | निलावे वा | ||
1999 | एन स्वासा काट्रे | प्रकाश राज के पिता | |
1999 | अमरकलम | तुलसी दास | |
1999 | लाल बादशाह | विक्रम सिंह उर्फ विक्की बादशाह | |
1999 | मुदल्वन | मुख्यमंत्री अरंगानाथान | |
1997 | अनगनगा ओका रोजू | ||
1997 | अरुणाचलम | विश्वनाथन | |
1997 | आहा | रघुराम | |
1997 | लव टुडे | डॉ॰ चंद्रशेखर | |
1997 | नेर्रुक्कू नेर | ||
1997 | रट्चगन | ईश्वर | |
1997 | उल्लासम | जे के विक्रम के पिता | |
1997 | सुस्वागतम | गणेश के पिता | |
1996 | रक्षक | ||
1995 | तोट्टा चिनुन्गी | गोपाल | |
1995 | बाशा | मार्क एंथनी | |
1995 | मुत्तु | राजशेखर | |
1994 | कादलन | मल्लिकार्जुन | |
1992 | दैवातिन्टे विक्रितिकल | ||
1992 | सूर्या मानसम | संपत्ति प्रबंधक | |
1990 | अंजलि | शेखर | |
1990 | पुरियादा पुदिर | ||
1990 | इज्ज़तदार | ||
1986 | सम्सारम अदु मिन्सारम | चिदंबरम | |
1989 | राजा चिन्ना रोजा | भास्कर | |
1989 | लंकेश्वरुदू | ||
1989 | रुद्रनेत्रा | ||
1989 | शिवा | भवानी | |
1988 | एन बोम्मुकुट्टी अम्मावुक्कु | एलेक्स | |
1988 | अन्नानगर मुदल तेरू | ||
1987 | जेबू दोंगा | ||
1987 | पूविली वासलिले | ||
1987 | माइकल राज | ||
1987 | कूटू पुलुक्कल | ||
1987 | मक्कल एन पक्कम | ||
1986 | मिस्टर भरत | ||
1983 | ओड़ई नदियाकिरतु | ||
1983 | रुगमा | ||
1982 | पसिवादी प्रणाम | वेणु | |
1982 | एलावदु मनिदन |