लेप्टोस्पायरोसिस (जिसके दूसरे कई नामों में फील्ड फीवर,[1] रैट काउचर्स यलो,[2] और प्रटेबियल बुखार[3] शामिल हैं) एक संक्रमण है जो लेप्टोस्पाइरा कहे जाने वाले कॉकस्क्रू-आकार केबैक्टीरिया से फैलता है। लक्षणों में हल्के-फुल्के सिरदर्द, मांसपेशियों में दर्द और बुखार; से लेकर फेफड़ों से रक्तस्राव या मस्तिष्क ज्वर जैसे गंभीर लक्षण शामिल हो सकते हैं।[4][5] यदि संक्रमित व्यक्ति को पीला, हो या गुर्दे की विफलता हो और रक्तस्राव हो तो इसे वेल रोगकहते हैं।[5] यदि इसके कारण फेफड़े से अत्यधिक रक्तस्राव होता है तो इसे गंभीर फुप्फुसीय रक्तस्राव सिन्ड्रोमकहते हैं।[5]

लेप्टोस्पायरोसिस
वर्गीकरण एवं बाह्य साधन
आईसीडी-१० A27.
आईसीडी- 100
ओएमआईएम 607948
डिज़ीज़-डीबी 7403
मेडलाइन प्लस 001376
ईमेडिसिन med/1283  emerg/856 ped/1298
एम.ईएसएच C01.252.400.511

कारण और निदान संपादित करें

मानवों में 13 भिन्न-भिन्न प्रकार के लेप्टोस्पाइरा इस रोग को पैदा कर सकते हैं।[6] यह जंगली तथा पालतू दोनो प्रकार के पशुओं से फैल सकता है।[5] इस रोग को फैलाने वाले सबसे आम पशु कृदंत हैं।[7] यह अक्सर पशु मूत्र या पशु मूत्र वाले पानी या मिट्टी के त्वचाके चिटके/कटे हिस्से, आँखों, मुंह या नाक के संपर्क में आने पर फैलता है।।[4][8] विकासशील देशों में सबसे आम तौर पर यह रोग किसानों या शहरों में रहने वाले बेहद गरीब लोगों को होता है।[5] विकसित दुनिया में यह आम तौर पर यह रोग उनको होता है जो गर्म व नम देशों में घर के बाहर की गतिविधियों में शामिल होते हैं।[4] निदान के लिए आम तौर पर बैक्टीरिया के विरुद्ध ऐंटीबॉडी या रक्त में इसके डीएनए खोज कर किया जाता है। [9]

रोकथाम तथा उपचार संपादित करें

रोग से बचाव के प्रयासों में संभावित रूप से संक्रमित पशुओं के साथ काम करते समय संपर्क से बचने के लिए सुरक्षा उपकरण, संपर्क के बाद हाथों को धोना, लोगों के निवास व कार्य के क्षेत्र कृदंतों की संख्या कम करना शामिल है।[4] यात्रा करने वाले लोगों में संक्रमण की रोकथाम के लिए ऐंटीबायोटिक डॉक्सीसाइक्लिन, के उपयोग के लाभ अस्पष्ट हैं।[4] पशुओं के लिए कुछ प्रकार के लेप्टोस्पाइरा ऐसे हैं जो मानवों में फैलाव के जोखिम को कम करते हैं।[4] संक्रमित होने पर निम्नलिखित ऐंटीबायोटिक उपयोग किए जाते हैं: डॉक्सीसाइक्लीन, पेनिसिलीन या सेफट्राइएक्सिन[4] वेल रोग तथा गंभीर फुप्फुसीय रक्तस्राव सिन्ड्रोम के परिणाम स्वरूप, उपचार के बावजूद मृत्यु-दर क्रमशः 10% और 50% तक बढ़ जाती है।[5]

महामारी विज्ञान संपादित करें

ऐसा आंकलन है कि हर साल, सात से दस मिलयन लोग लेप्टोस्पायरोसिस से संक्रमित होते हैं।[10] इस रोग के कारण होने वाली मौतों की संख्या स्पष्ट नहीं हैं।[10] यह रोग दुनिया के उष्णकटिबंधीय क्षेत्रों में कहीं भी हो सकता है।[4] विकासशील देशों की मलिन बस्तियों में प्रकोप फैल सकती है। [5] इस रोग का वर्णन पहली बार 1886 में जर्मनी में वेल द्वारा किया गया था।[4] वे पशु जो संक्रमित हैं उनमें लक्षणों की अनुपस्थिति, हल्की उपस्थिति या गंभीर उपस्थिति हो सकती है।[6] लक्षण पशु के प्रकार पर निर्भर करते हैं।[6] कुछ पशुओं में लेप्टोस्पाइरा प्रजनन पथ में होते हैं, जिसके कारण यौन संपर्क के दौरान इस रोग का संचरण हो जाता है।[11]

सन्दर्भ संपादित करें

  1. Mosby's Medical Dictionary (9 संस्करण). Elsevier Health Sciences. 2013. पृ॰ 697. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 9780323112581. मूल से 9 नवंबर 2014 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 15 दिसंबर 2015.
  2. McKay, James E. (2001). Comprehensive health care for dogs. Minnetonka, MN.: Creative Pub. International. पृ॰ 97. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 9781559717830.
  3. James, William D.; Berger, Timothy G.; एवं अन्य (2006). Andrews' Diseases of the Skin: clinical Dermatology. Saunders Elsevier. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 0-7216-2921-0. Explicit use of et al. in: |author= (मदद)सीएस1 रखरखाव: एक से अधिक नाम: authors list (link):290
  4. (वीर गडरिया) पाल बघेल धनगर
  5. (वीर गडरिया) पाल बघेल धनगर
  6. "Leptospirosis" (PDF). The Center for Food Security and Public Health. अक्टूबर 2013. मूल से 29 जनवरी 2016 को पुरालेखित (PDF). अभिगमन तिथि 8 November 2014.
  7. (वीर गडरिया) पाल बघेल धनगर
  8. "Leptospirosis (Infection)". Centers for Disease Control and Prevention. मूल से 16 जनवरी 2016 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 8 November 2014.
  9. (वीर गडरिया) पाल बघेल धनगर
  10. "Leptospirosis". NHS. 7/11/2012. मूल से 15 अगस्त 2015 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 14 March 2014. |date= में तिथि प्राचल का मान जाँचें (मदद)
  11. Faine, Solly; Adler, Ben; Bolin, Carole (1999). "Clinical Leptospirosis in Animals". Leptospira and Leptospirosis (Revised 2nd संस्करण). Melbourne, Australia: MediSci. पृ॰ 113. आई॰ऍस॰बी॰ऍन॰ 0 9586326 0 X.