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[[चित्र:Phenylalanin - Phenylalanine.svg|thumb|फिनाइल एलानिन, एक सामान्य अमीनो अम्ल]]
अमीनो अम्ल, वे [[अणु]] हैं जिनमें अमाइन तथा कार्बोक्सिल दोनों ही ग्रुप पाएं जाते हैं। इनका साधारण सुत्र H<sub>2</sub>NCHROOH है। इसमें R एक पार्श्व कड़ी है. जो परिवर्तनशील विभिन्न अणुओं का ग्रूप होता है। कार्बोक्सिल(-COOH) तथा अमाइन(-NH<sub>2</sub>) ग्रूप [[कार्बन|प्रांगार]] [[परमाणु]] से लगा रहता है। अमीनो अम्ल [[प्रोटीन|प्रोभूजिन]] के गठनकर्ता [[अणु]] हैं। बहुत सारे अमीनो अम्ल [[पेप्टाइड बंधन]] द्वारा युक्त होकर प्रोभूजिनप्रोटीन बनाते हैं। प्रोभूजिनप्रोटीन बनाने में 20 अमीनो अम्ल भाग लेते हैं।
 
यह [[प्रोटीन|प्रोभूजिन ]] निर्माण के कर्णधार होते हैं। प्रकृति में लगभग बीस अमीनों अम्लों का अस्तित्व है। प्रोभूजिनप्रोटीन अणुओं में सैंकड़ों या हजारों अमीनो अम्ल एक दूसरे से जुड़े रहते हैं। प्रत्येक प्रोभूजिनप्रोटीन में प्रायः सभी अमीनो अम्ल एक विशेष अनुक्रम से जुड़े रहते हैं। विभिन्न अमीनो अम्लों का यही अनुक्रम प्रत्येक प्रोभूजिनप्रोटीन को उसकी विशेषताएं प्रदान करता है। अमीनो अम्लों का यही विशिष्ट अनुक्रम [[डी एन ए]] के [[न्यूक्लोटाइड|न्यूक्लोटाइडस]]्स के क्रम से निर्धारित होता है।