संतोष आनंद
संतोष आनंद (सन्तोष आनन्द) हिंदी (हिन्दी) फिल्मों के क्षेत्र में एक प्रतिष्ठित गीतकार के रूप में जाने जाते हैं।
संतोष आनंद | |
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जन्म |
5 मार्च 1929 सिकंदराबाद, बुलंदशहर, संयुक्त प्रांत, ब्रिटिश भारत |
शिक्षा की जगह | अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय |
पेशा | गीतकार |
पुरस्कार
संपादित करें1974 में, फिल्म रोटी कपड़ा और मकान के गीत- मैं न भूलूंगा और 1983 में प्रेमरोग फिल्म गीत मुहब्बत हैं, क्या चीज के लिए संतोष आनंद को फिल्मफेयर पुरस्कार से सम्मानित किया गया। इसके अलावा 2016 में इन्हें यश भारती पुरस्कार भी प्रदान किया गया।
रोचक तथ्य
संपादित करेंसंतोष जी इंडियन आइडल के शो पर आए थे 21/02/2021 को, अपनी ज़िंदगी से जुड़े कुछ भावुक पल दर्शकों के साथ साझा करते हुए भावुक हो गए, गायिका नेहा कक्कड़ ने भेंट स्वरूप 5 लाख रु देने का कहा तो संतोष जी ने कहा,"धन्यवाद बेटी! पर मैं बहुत स्वाभिमानी हूँ किसी से पैसा नहीं लेता भले ही पैसे की तंगी हो, फिर नेहा ने कहा अपनी पोती समझ के रख लीजिए, तो संतोष जी ने भावुक होते हुए हामी भर दी।
प्रसिद्ध रचनाएं
संपादित करें- मुहब्बत है क्या चीज....(फ़िल्म: प्रेम रोग)
- इक प्यार का नगमा है।.... (फ़िल्म: शोर)
- जिंदगी की ना टूटे लड़ी .... (फ़िल्म: क्रांति)
- मारा ठुमका बदल गई चाल मितवा .... (फ़िल्म: क्रांति)
- मेघा रे मेघा रे मत जा तू परदेश (फ़िल्म: प्यासा सवान)
- मैं न भूलूंगा, इन रस्मों को, इन कसमों को (फ़िल्म: रोटी कपड़ा और मकान)
- ओ रब्बा कोई तो बताए (फ़िल्म: संगीत)
- आप चाहें तो हमको (फ़िल्म: संगीत )
- जिनका घर हो अयोध्या जैसा (फ़िल्म: बड़े घर की बेटी)
- दिल दीवाने का ढोला (फ़िल्म: तहलका)
- जिंदगी की ना टूटे लड़ी( फ़िल्म: क्रांति)
- चना जोर गरम....(फ़िल्म: क्रांति)
- ये शान तिरंगा (फ़िल्म: तिरंगा)
- पीले पीले ओ मोरे राजा... (फ़िल्म: तिरंगा)
- मैंने तुमसे प्यार किया ...(फ़िल्म: सूर्या)
जैसे भावुक कर देने वाले गीत लिखने वाले संतोष आनंद जी को पूरा भारतीय समाज कभी नहीं भूल सकता। उनके अनमोल योगदान को बॉलीवूड को भी कभी नहीं भूलना चाहिए।
सन्दर्भ
संपादित करेंसंतोष आनंद फिल्म इंडस्ट्री के सबसे चहेते प्रसिद्ध गीतकार रहें हैं। इन्होंने कई फ़िल्मों में गीतों की रचना की।।
(1) पूरब और पश्चिम (1971)
(2) शोर (1972)
(3) रोटी कपड़ा और मकान (1974)
(4) पत्थर से टक्कर (1980)
(5) क़्रांति (1981)
(6) प्यासा सवान (1981)
(7) प्रेम रोग (1982)
(8) गोपीचंद सावन (1982)
(9) जख़्मी शेर (1984)
(10) मेरा ज़बाब (1985)
(11) पत्थर दिल (1985)
(12) लव 86 (1986)
(13) मज़लूम (1986)
(14) बड़े घर की बेटी (1989)
(15) नाग नागिन (1989)
(16) सूर्या (1989)
(17) दो मतवाले (1991)
(18) नागमणि (1991)
(19) रणभूमि (1991)
(20) जूनुन (1992)
(21) संगीत (1992)
(22) तहलका (1992)
(23) तिरंगा (1993)
(24) संगम हो के रहेगा (1994)
बाहरी कड़ियाँ
संपादित करें- इंसान की फितरत है कभी अर्श पर कभी फर्श पर कभी फर्श पर कभी हर्ष पर इंटरनेट मूवी डेटाबेस पर संतोष आनंद
इनके गीतों को लता मंगेशकर, महेंद्र कुमार, मोहम्मद अजीज, कुमार सानू, कविता कृष्णमूर्ति जैसे अनेक गायकों ने आवाज दी।
हिंदी फिल्मों के शोमैन कहे जाने वाले राज कपूर, मनोज कुमार जैसे अभिनेताओं की फिल्मों के लिए गीतों की रचनाएं की।।
दुखद यह की भारत सरकार ने उनको पदम श्री के लिए नहीं चुना !
उनके पुत्र की आत्महाया के पीछे के कारणों को गृह मंत्रालय ने क्या करवाही की ???
Santosh Anand Ji ki arthik sthiti kharab kyon Ho gai thi film industry mein itna rupaye kamane ke bad bhi unka aisa kya Karan raha hoga ki unki arthik sthiti kharab ho chuki hai ???
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