अभिमान (1973 फ़िल्म)
अभिमान 1973 में बनी हिन्दी भाषा की संगीतमय नाट्य फिल्म है। इसमें अमिताभ बच्चन, जया बच्चन, असरानी और बिन्दू हैं। इसे ऋषिकेश मुखर्जी ने निर्देशित किया था। मजरुह सुल्तानपुरी द्वारा लिखित और सुप्रसिद्ध गायक मोहम्मद रफी, लता मंगेशकर और किशोर कुमार द्वारा गाए गए और सचिन देव बर्मन द्वरा संगीतबद्ध किए गए इस फिल्म को संभवतः इसके गानों के लिए सबसे ज्यादा याद किया जाता है।
अभिमान | |
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फ़िल्म का पोस्टर | |
निर्देशक | ऋषिकेश मुखर्जी |
लेखक | ऋषिकेश मुखर्जी |
निर्माता |
सुशीला कामत, पवन कुमार |
अभिनेता |
अमिताभ बच्चन, जया बच्चन, असरानी, बिंदू, दुर्गा खोटे, ए के हंगल |
छायाकार | जयवंत पठारे |
संपादक | दास धैमाड़े |
संगीतकार |
सचिन देव बर्मन मजरूह सुलतानपुरी (गीत) |
प्रदर्शन तिथियाँ |
27 जुलाई, 1973 |
लम्बाई |
122 मिनट |
देश | भारत |
भाषा | हिन्दी |
फिल्म ने उस समय प्रकाशित बॉलीवुड व्यापार पत्रिका के अनुसार बॉक्स ऑफिस पर औसत कारोबार किया। जया बच्चन ने अभिमान के लिए सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री का फिल्मफेयर पुरस्कार जीता। कुछ समीक्षकों अनुसार ये फिल्म सितार वादक रवि शंकर और अन्नपूर्णा देवी के बीच परेशानी भरी शादी पर आधारित है। लेखक राजू भारतान के अनुसार, ऋषिकेश मुखर्जी ने गायक किशोर कुमार और उनकी पहली पत्नी, रूमा घोष के जीवन फिल्म की कहानी आधारित की थी।
संक्षेप
संपादित करेंसुबीर कुमार (अमिताभ बच्चन) एक पेशेवर गायक है जो समृद्धि की ओर अग्रसर है। उमा (जया भादुडी) से मिलने तक उसका शादी करने का विचार नहीं था। उमा गाँव में दुर्गा मौसी (दुर्गा खोटे) के साथ रहती है। उससे शादी कर बम्बई ला उससे गायकी का पेशा शुरू करना चाहता है। इस बीच उसकी गायकी डगमगाती है और उमा की उभरती है और अपने पति से भी प्रसिद्ध गायक बनती है। इस पर सुबीर उमा से द्वेष करने लगता है और उनके वैवाहिक जीवन में तनाव होता है। एक संवेदनात्मक मोड़ पर दोनों के बिछड़ने के बाद उमा का गर्भपात होता है। क्या सुबीर अपने अभिमान व द्वेष पर विजय पाता है?
ऋषिकेश मुखर्जी के इस श्रेष्ठतम निर्देशन में गीत तेरे मेरे मिलन की ये रैना से अन्त में दोनों का भावनात्मक मिलन दिखाया गया है।
मुख्य कलाकार
संपादित करें- अमिताभ बच्चन - सुबीर कुमार
- जया बच्चन - उमा कुमार
- असरानी - चंदर कृपलानी
- डेविड - ब्रजेश्वरलाल
- बिंदू - चित्रा
- दुर्गा खोटे - दुर्गा मौसी
- ए के हंगल - सदानन्द
- ललिता कुमारी - राधा
दल
संपादित करें- निर्देशक - हृषिकेश मुखर्जी
- कथा - हृषिकेश मुखर्जी
- पटकथा - नबेंदु घोष, बीरेश चेटर्जी, मोहिनी एन सिप्पी
- संवाद - राजेन्द्र सिंह बेदी
- निर्माता - सुशीला कामत, पवन कुमार
- संपादक - दास धैमाड़े
- छायांकन - जयवंत पठारे
- कला निर्देशक - अजित बेनर्जी
- वेश एवं भूषा - शालिनी शाह, रामलाल महेश्वरी
- निर्माण प्रबंधक - जे एस त्रिपाठी, प्रकाश वालावलकर, उदय वालावलकर
- सहायक निर्देशक - शकील चंद्रा, सुशीला कामत, नितिन मुकेश
- सहायक सम्पादक - हरी भोईर, श्रीधर मिश्रा, शंकर प्रधान
- सहायक कला निर्देशक - महेंद्र बलासिनोर्वाला, शंकर कुराड़े
- संगीत सहायक - मीरा देव बर्मन, अनिल मोहिले, अरुण पौडवाल, मारुती राव
- पार्श्वगायक - किशोर कुमार, लता मंगेशकर, मोहम्मद रफ़ी, मनहर उधास, सचिन देव बर्मन, सुनील कुमार, अनुराधा पौडवाल
संगीत
संपादित करें- गीत "तेरे मेरे मिलन की ये रैना" बिनाका गीत माला की 1973 वार्षिक सूची पर 16वीं पायदान पर रही।
- गीत "मीत न मिलारे मनका" बिनाका गीत माला की 1973 वार्षिक सूची पर 23वीं पायदान पर रही। [1]
सभी गीत मजरुह सुल्तानपुरी द्वारा लिखित; सारा संगीत सचिन देव बर्मन द्वारा रचित।
गाने | |||
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क्र॰ | शीर्षक | गायन | अवधि |
1. | "अब तो है तुमसे हर ख़ुशी अपनी" | लता मंगेशकर | 4:25 |
2. | "तेरी बिंदिया रे" | लता मंगेशकर, मोहम्मद रफ़ी | 4:32 |
3. | "तेरे मेरे मिलन की ये रैना" | किशोर कुमार, लता मंगेशकर | 5:49 |
4. | "नदिया किनारे" | लता मंगेशकर | 4:05 |
5. | "पिया बिना पिया बिना" | लता मंगेशकर | 4:12 |
6. | "मीत न मिला रे मनका" | किशोर कुमार | 4:56 |
7. | "लूटे कोई मन का नगर" | लता मंगेशकर, मनोहर उधास | 3:04 |
नामांकन और पुरस्कार
संपादित करेंवर्ष | नामित कार्य | पुरस्कार | परिणाम |
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१९७४ | सचिन देव बर्मन | फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ संगीतकार पुरस्कार | जीत |
जया बच्चन | फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ अभिनेत्री पुरस्कार | जीत | |
असरानी | फ़िल्मफ़ेयर सर्वश्रेष्ठ सहायक अभिनेता पुरस्कार | नामित |
सन्दर्भ
संपादित करें- ↑ "बिनाका गीत माला की 1973 वार्षिक सूची". मूल से 1 जुलाई 2011 को पुरालेखित. अभिगमन तिथि 26 जून 2011.