ढूंढाड़
(धूंधार से अनुप्रेषित)
उत्तर भारत का ऐतिहासिक क्षेत्र ढुंढाड़ | |
स्थिति | राजस्थान |
Flag of 19th c. | |
State established: | 10th c. |
भाषा | ढूंढाड़ी |
राजवंश | चाँदा मीणा(till 12th c.) कछवाहा राजपूत (1128-1949)[1] |
Historical capitals | खोह, दौसा, आंबेर, जयपुर |
Separated states | भरतपुर, अलवर, करौली, शेखावाटी(सीकर,झुन्झुनू) |
ढुंढाड़ (जिसे जयपुर क्षेत्र भी कहा जाता है) राजस्थान राज्य का एक ऐतिहासिक क्षेत्र रहा है। इसे समय समय पर कछावा राज्य, आंबेर राज्य और जयपुर राज्य भी कहा गया है। यह पश्चिम राजस्थान में स्थित है। इसमें आने वाले जिले हैं:
- जयपुर जिला
- दौसा जिला
- सवाई माधोपुर जिला
- टोंक जिला
- करौली जिला के उत्तरी भाग।
इस क्षेत्र को अरावली पर्वत माला उत्तर पश्चिम से घेरे है और अजमेर पश्चिम में, मेवाड़ दक्षिण पश्चिम में, हड़ौती दक्षिण में एवं अलवर जिला, करौली जिला तथा भरतपुर जिला इसके पूर्व में स्थित हैं।
भूगोल
संपादित करेंराजस्थान के मध्य पूर्वी भाग की प्रधान बोली है
इतिहास
संपादित करेंदूल्हेराय नामक व्यक्ति ने सर्वप्रथम कछवाह वंश की स्थापना की, 1137 ई . में खोह राज्य के मीणाओं को हराकर ढूंढाड़ राज्य को बसाया, और खोह को इसकी राजधानी बनाया था।[2] काकील देव ने आमेर राज्य के मीणाओं को धोखे से पराजित कर अपनी राजधानी खोह से बदलकर आमेर कर दी।[3][4][5]
संस्कृति
संपादित करेंसन्दर्भ
संपादित करें- ↑ Chakravarti, Anand (1975). Contradiction and Change. Oxford University Press. पृ॰ 21.
The Kachwaha dynasty in Rajputana (present Rajasthan) may be said to date from about 1128, with Dausa as its first capital.
- ↑ "Origin Of Kachcwaha In Dhundhar Region of Rajasthan". Cite journal requires
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(मदद) - ↑ जयपुर : रेगिस्तान में एक सपना. Classic Publishing House, 1994. पृ॰ 37.
- ↑ Jaigarh, the Invincible Fort of Amber. RBSA Publishers, 1990. पृ॰ 18.
- ↑ Jaipur: Gem of India. IntegralDMS, 2016. पृ॰ 24.