कर्नाटक के मुख्यमंत्रियों की सूची
कर्नाटक के मुख्यमंत्री दक्षिण भारतीय राज्य कर्नाटकके मुख्य कार्यकारी अधिकारी हैं। भारत के संविधान के अनुसार, राज्यपाल एक राज्य का न्यायपालक है, परन्तु वास्तविक कार्यकारी प्राधिकारी मुख्यमंत्री के होता है। कर्नाटक विधान सभा के चुनाव के बाद राज्य के गवर्नर आम तौर पर सरकार बनाने के लिए बहुमत सीट वाले पार्टी (या गठबंधन) को आमंत्रित करते है। राज्यपाल मुख्यमंत्री को नियुक्त करते है, जिनका मंत्रिमंडल सामूहिक रूप से विधानसभा के लिए जिम्मेदार है। यह देखते हुए कि उन्हें विधानसभा का विश्वास है, मुख्यमंत्री का कार्यकाल पांच साल के लिए होता है।
१९४७ के बाद से, बाईस लोग मैसूर (१ नवंबर १९७३ से पहले राज्य मैसूर के नाम से जाना जाता था) और कर्नाटक के मुख्यमंत्री रहे हैं। उनमें से अधिकांश भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस पार्टी के थे, पहले मुख्यमंत्री के चेंगलाराय रेड्डी को मेलाकर। सबसे लंबे समय तक सेवा देने वाले मुख्यमंत्री डी देवराज उर्स थे जिन्होने १९७० के दशक में सात साल से अधिक समय तक कार्यालय सम्भाला।
कर्नाटक में राष्ट्रपति शासन के छह उदाहरण हैं, सबसे हाल ही में २००७-०८ में। वर्तमान मुख्यमंत्री कांग्रेस पार्टी के सिद्धारमैया हैं, जिन्होंने १३ मई २०१३ को शपथ ली थी।
मैसूर और कर्नाटक के मुख्य मंत्री
संपादित करें#[a] | चित्र | नाम | निर्वाचन क्षेत्र | कार्यकाल | विधानसभा | पार्टी[b] | ||||
---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|---|
मैसूर के मुख्यमंत्री | ||||||||||
1 | के चेंगलाराय रेड्डी | लागू नहीं | 25 अक्टूबर 1947 | 30 मार्च 1952 | 4 साल, 157 दिन | स्थापना नहीं हुई | भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस | |||
2 | केंगल हनुमंतैया | रामनगर | 30 मार्च 1952 | 19 अगस्त 1956 | 4 साल, 142 दिन | पहली (1952 के चुनाव) जारी... | ||||
3 | कडिदाल मंजप्पा | तिर्थहल्ली | 19 अगस्त 1956 | 31 अक्टूबर 1956 | 73 दिन | |||||
मैसूर के मुख्यमंत्री (राज्य के रूप में पहचान मिलने के बाद) | ||||||||||
4 | एस निजलिंगप्पा | मोलाकलमुरु | 1 नवम्बर 1956 | 16 मई 1958 | 1 साल, 197 दिन | ...जारी 1st (1952) |
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस | |||
2nd (1957) | ||||||||||
5 | बासप्पा दनप्पा जत्ती | जमखांडी | 16 मई 1958 | 14 मार्च 1962 | 3 साल, 302 दिन | |||||
6 | शिवलिंगप्पा रुद्रप्पा कांथी | हुंगुड | 14 मार्च 1962 | 21 जून 1962 | 99 दिन | तीसरी (1962) | ||||
(4) | एस निजलिंगप्पा | शिग्गाँव | 21 जून 1962 | 29 मई 1968 | 5 साल, 343 दिन | |||||
बगलकोट | चौथी (1967) | |||||||||
7 | वीरेन्द्र पाटिल | चिंचोली | 29 मई 1968 | 18 मार्च 1971 | 2 साल, 293 दिन | भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (संगठन) | ||||
– | रिक्त[c] (राष्ट्रपति शासन) |
लागू नहीं | 19 मार्च 1971 | 20 मार्च 1972 | 1 साल, 1 दिन | विधानसभा भंग | लागू नहीं | |||
8 | डी देवराज उर्स | हुनसुरु | 20 मार्च 1972 | 31 अक्टूबर 1973 | 1 साल, 225 दिन | 5वीं (1972) |
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (आर) | |||
– | कर्नाटक का मुख्यमंत्री[d] | |||||||||
(8) | डी देवराज उर्स | हुनसुरु | 1 नवम्बर 1973 | 31 दिसम्बर 1977 | 4 साल, 60 दिन | ...जारी 5वीं (1972) |
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (आर) | |||
– | रिक्त[c] (राष्ट्रपति शासन) |
लागू नहीं | 31 दिसम्बर 1977 | 28 फ़रवरी 1978 | 59 दिन | विधानसभा भंग | लागू नहीं | |||
(8) | डी देवराज उर्स | हुनसुरु | 28 फ़रवरी 1978 | 12 जनवरी 1980 | 1 साल, 318 दिन | 6वीं (1978) |
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस (आई) | |||
9 | आर गुंडू राव | सोमवारपेट | 12 जनवरी 1980 | 10 जनवरी 1983 | 2 साल, 363 दिन | |||||
10 | रामकृष्ण हेगडे | कनकपुरा | 10 जनवरी 1983 | 7 मार्च 1985[e] | 5 साल, 216 दिन | 7वीं (1983) |
जनता पार्टी | |||
बसवनगुडी | 8 मार्च 1985 | 13 अगस्त 1988[f] | 8वीं (1985) | |||||||
11 | सोमप्पा रायप्पा बोम्मई | हुबली ग्रामीण | 13 अगस्त 1988 | 21 अप्रैल 1989 | 281 दिन | |||||
– | रिक्त[c] (राष्ट्रपति शासन) |
लागू नहीं | 21 अप्रैल 1989 | 30 नवम्बर 1989 | 193 दिन | विधानसभा भंग | लागू नहीं | |||
(7) | वीरेन्द्र पाटिल | चिंचोली | 30 नवम्बर 1989 | 10 अक्टूबर 1990 | 314 दिन | 9वीं (1989) |
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस | |||
– | रिक्त[c] (राष्ट्रपति शासन) |
लागू नहीं | 10 अक्टूबर 1990 | 17 अक्टूबर 1990 | 7 दिन | लागू नहीं | ||||
12 | सरेकोप्पा बंगरप्पा | सोरब | 17 अक्टूबर 1990 | 19 नवम्बर 1992 | 2 साल, 33 दिन | भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस | ||||
13 | वीरप्पा मोइली | कार्कल | 19 नवम्बर 1992 | 11 दिसम्बर 1994 | 2 साल, 22 दिन | |||||
14 | एच॰ डी॰ देवगौड़ा | रामनगर | 11 दिसम्बर 1994 | 31 मई 1996 | 1 साल, 172 दिन | 10वीं (1994) |
जनता दल | |||
15 | जे एच पटेल | चन्नगिरि | 31 मई 1996 | 11 अक्टूबर 1999 | 3 साल, 133 दिन | |||||
16 | एस एम कृष्णा | मद्दूर | 11 अक्टूबर 1999 | 28 मई 2004 | 4 साल, 230 दिन | 11वीं (1999) |
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस | |||
17 | धरम सिंह | जेवर्गी | 28 मई 2004 | 3 फ़रवरी 2006 | 1 साल, 251 दिन | 12वीं (2004) | ||||
18 | एच॰ डी॰ कुमारस्वामी | रामनगर | 3 फ़रवरी 2006 | 8 अक्टूबर 2007 | 1 साल, 247 दिन | जनता दल (सेक्युलर) | ||||
– | रिक्त[c] (राष्ट्रपति शासन) |
लागू नहीं | 8 अक्टूबर 2007 | 12 नवम्बर 2007 | 35 दिन | लागू नहीं | ||||
19 | बी॰ एस॰ येदयुरप्पा | शिकारीपुर | 12 नवम्बर 2007 | 19 नवम्बर 2007 | 7 दिन | भारतीय जनता पार्टी | ||||
– | रिक्त[c] (राष्ट्रपति शासन) |
लागू नहीं | 20 नवम्बर 2007 | 29 मई 2008 | 191 दिन | विधानसभा भंग | लागू नहीं | |||
(19) | बी॰ एस॰ येदयुरप्पा | शिकारीपुर | 30 मई 2008 | 5 अगस्त 2011 | 3 साल, 67 दिन | 13वीं (2008) |
भारतीय जनता पार्टी | |||
20 | सदानन्द गौड़ा | विधान परिषद् सदस्य | 5 अगस्त 2011 | 12 जुलाई 2012 | 342 दिन | |||||
21 | जगदीश शेट्टार | हुबली-धारवाड सेंट्रल | 12 जुलाई 2012 | 13 मई 2013 | 305 दिन | |||||
22 | सिद्दारमैया | वरुण | 13 मई 2013 | 17 मई 2018 | 5 साल, 4 दिन | 14वीं (2013) |
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस | |||
(19) | बी॰ एस॰ येदयुरप्पा | शिकारीपुर | 17 मई 2018 | 23 मई 2018 | 6 दिन | 15वीं (2018) |
भारतीय जनता पार्टी | |||
(18) | एच॰ डी॰ कुमारस्वामी | चन्नपटण | 23 मई 2018 | 26 जुलाई 2019 | 1 साल, 64 दिन | जनता दल (सेक्युलर) | ||||
(19) | बी॰ एस॰ येदयुरप्पा | शिकारीपुर | 26 जुलाई 2019 | 28 जुलाई 2021 | 2 साल, 2 दिन | भारतीय जनता पार्टी | ||||
23 | बसवराज बोम्मई | शिग्गाँव | 28 जुलाई 2021 | 20 मई 2023 | 1 साल, 296 दिन | |||||
(22) | सिद्दारमैया | वरुण | 20 मई 2023 | पदस्थ | 1 साल, 184 दिन | 16वीं (2023) |
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस |
टिप्पणियाँ
संपादित करें- ↑ संख्या के कोष्टक में लिखे होने का अर्थ है कि पदस्थ व्यक्ति पहले भी इस पद पर रह चुका है।
- ↑ इस स्तम्भ में केवल मुख्यमंत्री की पार्टी का नाम है। उनकी सरकार कुछ पार्टियों और निर्दलियों एक मिश्रित गठबंधन हो सकती है; उन सभी की सूची यहाँ नहीं दी गयी है।
- ↑ अ आ इ ई उ ऊ राष्ट्रपति शासन तब लगायाज जा सकता है जब राज्य सरकार संविधान के अनुसार काम करने में अक्षम हो, जो सामान्यतः तब होता है जब कोई भी पार्टी अथवा गठबंधन विधानसभा में बहुमत प्राप्त नहीं कर पाता है। जाब राज्य में राष्ट्रपति शासन लागू होता है तब राज्य का मंत्रिमंडल भंग रहता है। इस स्थिति में मुख्यमंत्री की कुर्सी रिक्त रहती है और प्रशासन राज्यपाल के हाथ में चला जाता है, जो केन्द्र सरकार के प्रतिनिधि के रूप में काम करता है। कभी-कभी ऐसी स्थिति में विधानसभा भी भंग कर दी जाती है।[1]
- ↑ 1 नवम्बर 1973 को, मैसूर राज्य का नाम बदलकर कर्नाटक कर दिया गया। अतः देवराज उर्स 20 मार्च 1972 से 31 अक्टूबर 1973 तक मैसूर राज्य के मुख्यमंत्री रहे और बाद में कर्नाटक के मुख्यमंत्री बन गये।
- ↑ फ्रॅण्टलाइन पत्रिका के अनुसार, "वर्ष 1984 के आम चुनाव में जनता पार्टी की खराब प्रदर्शन (28 में से केवल 4 सीटों पर जीत) के कारण हेगड़े ने यह कहते हुये त्यागपत्र दे दिया कि उनकी पार्टी अपनी लोकप्रियता खो चुकी है। प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने उन्हें कार्यवाहक सरकार के मुखिया के रूप में काम जारी रखने को कहा। वर्ष 1985 के विधनसभा चुनाव में जनता पार्टी पूर्ण बहुमत के साथ सत्ता में आ गयी।"[2]
- ↑ फ्रॅण्टलाइन के अनुसार, हेगड़े ने "फ़रवरी 1986 में कर्नाटक अरैक बॉटलिंग अनुबंध को सरकार के तरिके को लेकर कर्नाटक उच्च न्यायालय ने सरकार की निंदा की।"[2] "अपनी पार्टी के विधायकों के दवाब में" कुछ दिनों बाद उन्होंने अपना त्यागपत्र वापस ले लिया।"[3]
सन्दर्भ
संपादित करें- ↑ के॰ दिवांजी, अम्बेरिश (15 मार्च 2005). "A dummy's guide to President's rule". रीडिफ.कॉम.
- ↑ अ आ मेनन, पार्वती (13 फ़रवरी 2004). "A politician with elan: Ramakrishna Hegde, 1926–2004". फ्रॅण्टलाइन. अभिगमन तिथि 8 जनवरी 2024.
- ↑ जयराम, ए॰ (13 जनवरी 2004). "Pillar of anti-Congress movement". द हिन्दू. अभिगमन तिथि 8 जनवरी 2024.